नई दिल्ली : दिल्ली में ग्रामीण विकास मंत्रालय के दफ्तर के बाहर धरने पर बैठे टीएमसी नेताओं को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में ले लिया है. इन नेताओं का कहना है कि केंद्रीय राज्य मंत्री साध्वी निरंजन ज्योति ने उन्हें शाम 6:30 बजे मिलने का समय दिया था, लेकिन वह नहीं मिलीं, जिसके बाद अभिषेक बनर्जी के नेतृत्व में टीएमसी का डेलीगेशन धरने पर बैठ गया. इन नेताओं का कहना था कि जब तक केंद्रीय मंत्री उनसे मुलाकात नहीं करेंगी, तब तक वो वहां से नहीं उठेंगे।
इस बीच साध्वी निरंजन ज्योति ने कहा कि उन्होंने टीएमसी सांसदों से मुलाकात के लिए ढाई घंटे इंतजार किया. उन्होंने ट्वीट किया, “आज ढाई घंटे का समय व्यर्थ गया. आज तृणमूल के सांसदों की प्रतीक्षा करते करते साढ़े आठ बजे कार्यालय से निकली हूं।
मेरी जानकारी के अनुसार तृणमूल के सांसद और बंगाल के मंत्रियों के डेलीगेशन ने कार्यालय में छह बजे मिलने का समय लिया था. लेकिन बाद में वे तृणमूल के कार्यकर्ताओं को जनता बताकर मिलना चाह रहे थे, जो कि कार्यालय की व्यवस्था के विरुद्ध था. संबंधित भेंट के तय विषयों से वे पीछे हट गये क्योंकि उनका उद्देश्य भेंट करना नहीं था, उनकी मंशा राजनीति करने की थी. तृणमूल नेताओं द्वारा की गई यह अत्यंत शर्मनाक घटना है.”
वहीं साध्वी निरंजन ज्योति के ट्वीट पर टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा ने पलटवार करते हुए कहा कि आप झूठ बोल रही हैं. आपने हमारे प्रतिनिधिमंडल को मिलने का समय दिया. आपने सभी नामों की जांच की, हमें प्रवेश करने की अनुमति देने से पहले हर एक की जांच की. हमें 3 घंटे तक इंतज़ार कराया और फिर पीछे के दरवाजे से भाग गईं. टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा ने आरोप लगाया है कि बिना किसी कागजी कार्रवाई के महिला सांसदों को सूर्यास्त के बाद पुलिस लाइन में रखा गया है. उन्होंने ट्वीट किया, “हम सभी को क्वींसवे कैंप में हिरासत में रखा गया है. महिला सांसदों को सूर्यास्त के बाद पुलिस लाइन में रखा गया. कोई कागजी कार्रवाई नहीं.”
इससे पहले पश्चिम बंगाल से मनरेगा वर्कर्स और कार्यकर्ताओं को लेकर दिल्ली आए तृणमूल कांग्रेस के महासचिव अभिषेक बनर्जी ने आरोप लगाया था कि केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने उन्हें समय नहीं दिया. उसके बाद केंद्रीय राज्य मंत्री साध्वी निरंजन ज्योति की ओर से समय दिया गया, लेकिन अब उन्होंने भी मुलाकात नहीं की है. टीएमसी नेता अभिषेक बनर्जी मंगलवार की शाम छह बजे अपने डेलीगेशन के साथ कृषि भवन पहुंच गए थे. उन्होंने आरोप लगाया कि 90 मिनट के इंतजार के बाद साध्वी निरंजन ज्योति की ओर मुलाकात से इनकार कर दिया गया. तृणमूल कांग्रेस की ओर से कहा गया कि अभिषेक बनर्जी के नेतृत्व में आया हमारा डेलीगेशन कृषि भवन से तभी जाएगा, जब केंद्रीय मंत्री से मुलाकात हो जाएगी. इससे पहले अभिषेक बनर्जी ने कहा कि जब दिल्ली पहुंचे तो फोर्स की ऐसी तैनाती की गई जैसे इंडिया-चीन युद्ध चल रहा हो. उन्होंने हमें रामलीला मैदान में रैली की परमिशन नहीं दी. उसके बाद केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने समय नहीं दिया. बनर्जी ने कहा कि हमारे पास केवल दो रास्ते हैं. पहला- नरेंद्र मोदी, अमित शाह के सामने सरेंडर करना और अपना बकाया पैसा मांगना. जबकि दूसरा रास्ता है प्रतिरोध. उन्होंने अपने समर्थकों से पूछा कि हमें कौन सा रास्ता चुनना चाहिए. सरेंडर या लड़ाई?
Anti-people @BJP4India-led Central Government's rulebook –
— All India Trinamool Congress (@AITCofficial) October 3, 2023
❌Deprive people of their rightful dues
❌Obstruct the fight for rights
❌ Use Delhi Police to silence voices
SHAMEFUL!#KrishiBhawan pic.twitter.com/JQqwbUWWyU