- वेस्ट टू एनर्जी मॉडल पर भिवाड़ी के कचरे का होगा निस्तारण
- “वेस्ट टू एनर्जी मॉडल” बनेगा समाधान
खैरथल-तिजारा / मुकेश कुमार शर्मा । केंद्रीय पर्यावरण वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री श्री भूपेंद्र यादव ने भिवाड़ी कि वायु गुणवत्ता को सुधारने और कचरा प्रबंधन को सुदृढ़ करने हेतु विभिन्न कदम उठाए जिसके तहत भिवाड़ी शहर के लिए वायु गुणवत्ता प्रबंधन की समीक्षा के लिए बुधवार को बीड़ा सभागार भिवाड़ी में डॉ. प्रशांत गर्गव, निदेशक (एनसीएपी), पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय की अध्यक्षता में एक बैठक आयोजित की गई। उन्होंने भिवाड़ी में “वेस्ट टू एनर्जी मॉडल” पर जोर देते हुए इस दिशा में कार्य करने का निर्णय लिया जिससे कचरे से बिजली और कंपोस्ट उत्पादन जैसी परियोजनाएं न केवल कचरा प्रबंधन का स्थायी समाधान बनेंगी, बल्कि इससे क्षेत्र को स्वच्छ और हरित बनाने में मदद मिलेगी।
बैठक से पूर्व निदेशक (एनसीएपी), पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय डॉ. प्रशांत गर्गव के साथ विभिन्न क्षेत्र के एक्सपर्ट्स ने भिवाड़ी क्षेत्र में स्थित डंपिंग यार्ड, रिको क्षेत्र तथा भिवाड़ी सिटी में ठोस कचरा प्रबंधन, कचरे के माध्यम से विद्युत ऊर्जा का उत्पादन सहित विभिन्न संभावनाओं को देखा।
भूपेंद्र यादव ने कहा की प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के मार्गदर्शन में भारत ‘स्वच्छ वायु और नील गगन’ के उद्देश्य को हासिल करने पर काम कर रहा है और आज की मीटिंग ने भिवाड़ी में इस लक्ष्य को पाने की दिशा में ज़मीन तैयार करने का काम किया।
बैठक के दौरान निदेशक पर्यावरण वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय ने वायु गुणवत्ता प्रबंधन तथा ठोस कचरा प्रबंधन को सुदृढ़ करने हेतु भिवाड़ी क्षेत्र में स्पेशल ड्राइव चलाकर भिवाड़ी की गली मोहल्ले में पड़े वेस्ट को हटाने के लिए कहा जिस पर जिला कलेक्टर ने नगर परिषद भिवाड़ी को आगामी 15 दिवस में एक विशेष अभियान चलाकर क्षेत्र में साफ सफाई करने के निर्देश दिए। उन्होंने रीको के अधिकारियों को उनके क्षेत्र में स्थित सड़कों की साफ सफाई, टाइल वर्क एवं पेड़ लगाने हेतु आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दिए। उन्होंने क्षेत्रीय अधिकारी पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड को सभी इकाइयों के पॉल्यूशन पैरामीटर की जांच करने हेतु निर्देशित किया।
इस दौरान उपस्थित कंसलटेंट एवं एक्सपर्ट्स ने भिवाड़ी क्षेत्र से जनरेट हो रहे कचरे का आंकलन कर इसके निस्तारण हेतु विभिन्न उपाय सुझाए। उन्होंने कचरे के सेग्रीगेशन सहित कचरे के कलेक्शन हेतु आवश्यक ऑटो टिपर की संख्या का आंकलन कर अतिरिक्त ऑटो टिपर लगाकर कचरा इकट्ठा करना, भिवाड़ी क्षेत्र को विभिन्न क्लस्टरों में विभाजित कर खसरा प्रबंध करना तथा ऑटो टिपर के ट्रिप की संख्या बढ़कर एवं रात के समय बाजार की सफाई, बाजार की छुट्टी के दिन सफाई का विशेष अभियान सहित विभिन्न बिंदुओं पर अपना सुझाव दिया। जिस पर जिला कलेक्टर ने नगर परिषद भिवाड़ी, बीड़ा एवं रीको को भिवाड़ी क्षेत्र को विभिन्न प्लास्टरों में विभाजित कर वर्तमान में उपलब्ध ऑटो टिपर एवं नियमित मॉनिटरिंग के माध्यम से कचरा प्रबंधन को सुदृढ़ करने के निर्देश दिए तथा भविष्य में स्थाई समाधान हेतु एक कार्य योजना बनाने हेतु भी निर्देशित किया।
उन्होंने भविष्य में कचरे के स्थाई समाधान हेतु कचरे के माध्यम से बिजली बनाने, कंपोस्ट बनाने जैसे मॉडल पर कार्य योजना तैयार कर कार्य करने के निर्देशित दिए।
बैठक के दौरान जिला कलेक्टर किशोर कुमार, मुख्य कार्यकारी अधिकारी बीड़ा अतुल प्रकाश, अतिरिक्त जिला कलेक्टर भिवाड़ी अश्विन के पंवार, उपखंड अधिकारी लाखन सिंह गुर्जर, निजी सचिव केंद्रीय पर्यावरण मंत्री आयुष सहारण, वरिष्ठ प्रबंधक रिको आदित्य शर्मा, क्षेत्रीय अधिकारी पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड अमित, नगर परिषद सहायक अभियंता अंकित सहित ठोस कचरा प्रबंधन सहित विभिन्न क्षेत्रों के एक्सपर्ट एवं कंसलटेंट मौजूद रहे।