जानिए कौन हैं ओशिन शर्मा ?…..
ओशिन शर्मा का परिवार मूल रूप से तो चंबा जिले के भरमौर का रहने वाला है, लेकिन इनके पिता धर्मशाला में शिफ्ट हो गए थे. 25 अप्रैल 2021 में ओशिन की शादी धर्मशाला से तत्कालीन बीजेपी विधायक विशाल नेहरियां से हुई थी, जोकि ओशिन का क्लासमेट था. लेकिन दो महीने बाद ही उन्होंने विशाल पर मारपीट और टॉर्चर करने के आरोप लगाए थे. उन्होंने सोशल मीडिया पर 11 मिनट का एक वीडियो भी शेयर किया था जिसमें उन्होंने अपने पति पर परिवार वालों के सामने तीन बार थप्पड़ मारने का आरोप लगाया था. हालांकि, अब दोनों कानूनी तौर पर अलग हो गए हैं।
चंडीगढ़ : हिमाचल प्रदेश की सोशल मीडिया स्टार लेडी अफसर ओशिन शर्मा का ट्रांसफर हो गया है. संधोल की तहसीलदार ओशिन को सुक्खू सरकार ने अबतक कोई पोस्टिंग नहीं दी है और उन्हें शिमला में प्रशासनिक विभाग में रिपोर्ट करने को कहा गया है. हाल ही में ओशिन शर्मा को लंबित पड़े कार्यों को लेकर नोटिस जारी किया गया था. ओशिन शर्मा का ट्रांसफर क्यों किया गया है, इसको लेकर हिमाचल सरकार के किसी भी सीनियर अधिकारी ने कोई टिप्पणी नहीं की है और न ही ये बताया गया है कि उन्हें अबतक कोई पोस्टिंग क्यों नहीं दी गई है. मंडी उपायुक्त कार्यालय के करीबी सूत्रों और मीडिया रिपोर्टों में कहा गया है कि सोशल मीडिया स्टार लेडी अफसर ओशिन का ट्रांसफर प्रशासनिक आधार पर किया गया है क्योंकि उनका काम संतोषजनक नहीं था।
हिमाचल की 32 वर्षीय लेडी अफसर ओशिन शर्मा सोशल मीडिया के अलग-अलग प्लेटफॉर्म पर काफी एक्टिव हैं. उनके कई प्लेटफॉर्मों पर आठ लाख से ज्यादा फॉलोअर्स हैं. जिसमें X पर 109K, इंस्टाग्राम पर 348K, फेसबुक पर 296K और ओशिन शर्मा पब्लिक ग्रुप में 128K फॉलोअर्स हैं. सूत्रों का कहना है कि स्थानीय राजनेता और वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी ओशिन शर्मा के सोशल मीडिया पर इतने एक्टिव रहने से खुश नहीं थे. ओशिन शर्मा का आखिरी पोस्ट X पर है, जो 13 सितंबर को उन्होंने मंडी के संधोल के लोगों से संबंधित किया था, जहां वो तहसीलदार के रूप में तैनात थीं. इसमें लिखा था, ‘संधोल को अलविदा कहने का समय आ गया है. यहां बनाई गई यादें आजीवन रहती हैं. आपके सम्मान और प्यार के लिए धन्यवाद.’
कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया है कि लेडी अफसर को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया था क्योंकि वह अपने कर्तव्यों का पालन करने में विफल रही थीं. उनका दावा है कि उनकी सोशल मीडिया एक्टिविटीज ने सार्वजनिक काम में बाधा डाली, जिससे देरी हुई. रिपोर्ट में यह भी दावा किया गया है कि हाल ही में एक निरीक्षण के दौरान महिला अधिकारी को सौंपे गए कई प्रशासनिक कार्य अधूरे थे. ओशिन शर्मा को हिमाचल की मेहनती महिला अधिकारियों में से एक माना जाता है. कांगड़ा और मंडी जिलों में अपनी पिछली पोस्टिंग के दौरान उन्होंने सामाजिक कल्याण, पर्यावरण, पंचायती योजना, NGO और पंचायत से संबंधिक कल्याणकारी योजनाओं को क्रियान्वित कर तारीफें बटोरी थीं. स्थानीय लोगों का कहना है कि वह शुरुआत में तहसीलदार संधोल में काम करते समय लोकप्रिय हुई थीं।
ओशिन को उनके सामाजिक कार्यों और प्रेरक कार्यों के लिए भी जाना जाता है. वह लाडली फाउंडेशन की ब्रांड एंबेसडर रहीं. उनकी फैशनेबल जीवनशैली और प्रेरक वीडियो इंस्टाग्राम, फेसबुक और एक्स पर हजारों लोग पसंद करते हैं. अपने मोटिवेशनल वीडियोज में वो में करंट अफेयर्स और प्रतियोगी परीक्षाओं पर चर्चा करती हैं. जोकि लड़कियों और सिविल सेवा के उम्मीदवारों को प्रोत्साहित करते हैं. हालांकि उनका सोशल मीडिया जुड़ाव केवल कुछ लोगों को ही स्वीकार्य था. भाजपा के एक विधायक ने भी बिना नाम लिए राज्य विधानसभा में परोक्ष रूप से यह मुद्दा उठाया था. अब ओशिन की सोशल मीडिया उपस्थिति को उनके ट्रांसफर के लिए जिम्मेदार ठहराया जा रहा है।
दिलचस्प बात यह है कि न केवल ओशिन शर्मा का पिछले गुरुवार को तबादला कर दिया गया, बल्कि तीन अन्य HAS अधिकारियों जिनमें आश्रय शर्मा, शिखा और मोहित रतन को भी अभी तक तैनाती की जगह नहीं दी गई है और उन्हें कार्मिक विभाग, शिमला में रिपोर्ट करने के लिए कहा गया है. जबकि इन तीन अधिकारियों के तबादलों पर किसी का ध्यान नहीं गया. ओशिन शर्मा हिमाचल की अकेली महिला अधिकारी नहीं हैं जो सोशल मीडिया पर एक्टिव हैं. एक और HPAS अधिकारी ज्योति राणा के भी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म फेसबुक पर 22 हजार फॉलोअर्स हैं. ज्योति राणा मॉडल रह चुकी हैं जो ज्योति संडे टॉक जैसे यूट्यूब चैनलों पर वीडियो पब्लिश करती हैं।