घाटशिला : घाटशिला अनुमंडल के धालभुमगढ़ का मोहलिशोल गांव में सर्पों की देवी मां मनसा पूजा के साधक एवं भक्तगण गांव के मंदिर परिसर का परिक्रमा किए। जिसमे हजारों की संख्या में भक्तो की भारी भीड़ ढोल नगाड़ों बजाते हुए जयघोष के नारों के साथ सर्पों की देवी को प्रसन्न करते दिखे।
पालकी पर सवार होकर विषधर सर्पों से डांसवाते साधकों को देखने भक्तो का हुजूम पूरे महुलिशोल गांव में उमड़ पड़ा था। इस दौरान गांव में मेला जैसे माहौल बना हुआ था। हर वर्ष की तरह इस वर्ष भी अगस्त महीने का 18 तारीख को सर्पों की देवी की आराधना करने वाले लोगो दूर दूर से इस गांव में आते है। गांव वालो का कहना है कि पूर्वी सिंहभूम जिला का ग्रामीण बहुल अधिकांश क्षेत्र पहाड़ जंगलों से घिरा होने के कारण यहां जहरीले सांप पाए जाते है।
सर्प दंश से बचाव के लिए महुलिशोल गांव बीते 300 वर्षो से लोगो को जागरूक और बचाव का कार्य करते आ रहे है। पूजा और साधना का यह आयोजन अपने आप में सबसे अनोखा है। स्वयं को विषधर सांपों से कटवा कर लोगो को जागरूक करने का काम यह कोई साधारण साधना नही है बल्कि मां मनसा देवी की शक्ति ही सर्पों से रक्षा करती है, यह गांव वालो मानना है। विषैले सर्पों से अपने शरीर में डसवा कर मां मनसा को