नई दिल्ली : देश के मीडिया जगत को हिला देने वाला एक सनसनीखेज मामला सामने आया है। ‘भारत 24’ न्यूज चैनल की एंकर शाजिया निसार और ‘अमर उजाला’ डिजिटल के एंकर आदर्श झा को नोएडा पुलिस ने आज रंगदारी और ब्लैकमेलिंग के गंभीर आरोपों में गिरफ्तार किया है।
आरोप है कि दोनों पत्रकारों ने चैनल प्रबंधन से कुल 65 करोड़ रुपये की अवैध मांग की थी। पुलिस ने गिरफ्तारी से पहले शाजिया निसार के आवास पर छापा मारा, जहां से ₹34 लाख 50 हजार की नकदी बरामद हुई है। मामले में नोएडा के सेक्टर-58 थाने में FIR दर्ज कर, दोनों को अदालत में पेश किया गया। सिविल जज (जूनियर डिवीजन-द्वितीय) जुही आनंद ने उन्हें 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया है।
क्या है पूरा मामला?
FIR संख्या 195/2025 के अनुसार, ‘भारत 24’ प्रबंधन ने शाजिया और आदर्श झा पर एक संगठित ब्लैकमेलिंग सिंडिकेट चलाने का आरोप लगाया है। चैनल के MD, ग्रुप एडिटर, कंसल्टिंग एडिटर (अनिता हाडा) और HR हेड (अनु श्रीधर) ने तीन अलग-अलग एफआईआर दर्ज कराई हैं।
प्रबंधन का आरोप है कि शाजिया ने संपादक सैयद उमर के खिलाफ झूठे यौन उत्पीड़न के केस की धमकी दी थी। साथ ही, लगातार चैनल प्रबंधन से पैसों की मांग करती रही। शुरुआत में 5 करोड़ की माँग की गई, जो धीरे-धीरे बढ़कर 65 करोड़ तक पहुंच गई। हर बातचीत की ऑडियो रिकॉर्डिंग मौजूद बताई जा रही है।
शाजिया और आदर्श झा का अतीत
सूत्रों के मुताबिक, शाजिया और आदर्श झा की पहचान पुरानी है। करीब 7-8 साल पहले आदर्श झा ने शाजिया को ‘जी सलाम’ चैनल में नौकरी दिलाने में मदद की थी। शाजिया ने नवंबर 2022 में फिर से डॉ. जगदीश चंद्रा के संपर्क में आकर ‘भारत 24’ में एंकर के रूप में काम शुरू किया।
लेकिन कार्य व्यवहार को लेकर अक्सर संपादकीय और HR टीम से उसका टकराव होता रहा। मार्च 2023 से सितंबर 2023 तक वह बिना सूचना के गैरहाजिर रही, और 11 सितंबर को दोबारा वापसी पर भी उसका रवैया नहीं सुधरा। आरोप है कि वह लगातार वरिष्ठों को झूठे मुकदमों में फँसाने की धमकी देती रही।
धमकी, ऑडियो-वीडियो सबूत और उगाही का खेल
14 अप्रैल 2025 को शाजिया ने प्रबंधन को फोन कर धमकी दी थी कि यदि उन्हें पैसे नहीं दिए गए तो वह चैनल की छवि खराब करने वाले झूठे आरोप लगाएगी। इसी दौरान उसने और आदर्श झा ने डॉ. जगदीश चंद्रा से जयपुर में मुलाकात कर दबाव बनाया। इसकी वीडियो रिकॉर्डिंग भी पुलिस के पास है।
चैनल प्रबंधन का बयान
‘भारत 24’ प्रबंधन ने अपने बयान में कहा है, “हमने जिन लोगों को मंच, अवसर और सम्मान दिया, उन्होंने ही संस्था को ब्लैकमेल कर मानसिक, सामाजिक और व्यावसायिक क्षति पहुँचाने की कोशिश की। लेकिन अब सच सामने आ चुका है।”
जांच का दायरा बढ़ा, और भी नामों की हो सकती है गिरफ्तारी
नोएडा पुलिस इस केस को एक संगठित ब्लैकमेलिंग सिंडिकेट मान रही है। अधिकारी यह पता लगाने में जुटे हैं कि कहीं और पत्रकार या सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर इस गिरोह में शामिल तो नहीं हैं।
अदालत में हंगामा, पुलिस पर आरोप
गिरफ्तारी के बाद अदालत में पेशी के दौरान शाजिया निसार ने हंगामा किया और पुलिस अधिकारियों पर आरोप लगाए, लेकिन अदालत ने इन दावों को दरकिनार करते हुए उसे न्यायिक हिरासत में भेज दिया।

