जमशेदपुर : आस्था का महापर्व छठ सोमवार को नहाय खाय की रस्म के साथ शुरू हो गया हैं. वहीं मंगलवार को स्नान के बाद व्रत रखन वाली महिलाओं ने लौकी की सब्जी, चने की दाल और अरवा चावल का प्रसाद ग्रहण किया. व्रती महिलाएं बुधवार को दिन भर उपवास में रहकर गोधूली वेला में खरना किया. खरना के विधान में गुड़ की खीर का प्रसाद ग्रहण किया जाता हैं।
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गुरूवार को कार्तिक शुक्ल षष्ठी को अस्ताचलगामी सूर्य व शुक्रवार की सुबह उगते हुए सूर्य को अर्ध्य देने के साथ महापर्व संपन्न होगा. दिनभर रखते है व्रत चार दिनों तक मनाए जाने वाले छठ महापर्व के दूसरे दिन को खरना कहा जाता हैं. इस दिन व्रती सुबह से लेकर सूर्यास्त तक बिना अन्न-जल के रहते हैं. शाम में भगवान सूर्य को भोग लगाते हैं. इसके बाद ही खुद खाते हैं।
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