शुभेंदु महतो की एक रिपोर्ट
जमशेदपुर : जमशेदपुर की सड़कों पर डहरे टुसू की शोभायात्रा में जनसैलाब दिखा वही कुड़मीओ का महाजुटान. एकता का परिचय देते हुए इस साल भी कुड़मी समाज द्वारा डहरे टुसु का आयोजन किया गया. जिसमें लाखों के तादाद में पुरुषों के साथ साथ महिला भी शामिल हुई. झारखंड के साथ साथ पश्चिम बंगाल तथा ओडिशा के कुड़मीओ ने भी भाग लिया. इस मौके पर जमशेदपुर से सटे ग्रामीण क्षेत्रों में बहुत पहले से ही तैयारी चल रही थी. पटमदा, बोड़ाम के साथ चांडिल, ईचागड़, कुकड़ू, गालुडिह, घाटशिला, सराईकेला-खरसवा के काफी कुड़मी शामिल हुए. डहरे टुसू का झाकी इस साल दो जगह से निकला जो कि पटमदा, बोड़ाम तथा गालूडीह घाटशिला प्रखण्ड के लोग डिमना बाबा तिलका माझी चोक से पुराना कोर्ट होते हुए साकची आम बागान मैदान तक पहुँचें एवं सराइकेला -खरसवा, चांडिल तथा इचागढ के आसपास के लोग गाम्हरिया शहीद निर्माल महतो समाधि स्थल से साकची आम बागान मैदान पहुंचे।
जहाँ पर पारम्परिक रूप से टुसु झुमुर तथा छौ नृत्य का आयोजन किया गया था. टुसू मनि जाय रे डहरे एई बार जमशेदपुर शहरें टुसु गीत लगभग सभी दलों के द्वारा गायें गायें डहर(रास्ते) में जाते नजर आए।
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