बिलासपुर : छत्तीसगढ़ में ऑनलाइन सट्टेबाजी पर प्रतिबंध के बावजूद कंपनियों द्वारा उल्लंघन किए जाने के मामले में छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने सख्त रुख अपनाया है। इस संबंध में दायर जनहित याचिका। (PIL) पर सोमवार को सुनवाई हुई, जिसमें अदालत ने राज्य शासन के गृह विभाग के सचिव से जवाब तलब किया है। साथ ही सट्टेबाजी में लिप्त कंपनियों को भी नोटिस जारी किया गया है। चीफ जस्टिस रमेश कुमार सिन्हा और जस्टिस रविंद्र कुमार अग्रवाल की डिवीजन बेंच में हुई सुनवाई में याचिकाकर्ता सुनील नामदेव की ओर से अधिवक्ता अमृतो दास ने पक्ष रखा। राज्य सरकार की ओर से महाधिवक्ता प्रफुल्ल एन भारत, उप महाधिवक्ता शशांक ठाकुर और अधिवक्ता तुषार धर दीवान ने अपना पक्ष प्रस्तुत किया।
याचिकाकर्ता का दावा….
याचिकाकर्ता ने बताया कि छत्तीसगढ़ सरकार ने ऑनलाइन सट्टेबाजी पर प्रतिबंध लगाया है, लेकिन कई कंपनियां इसका उल्लंघन कर रही हैं।
कोर्ट में पेश किए गए दस्तावेजों में आईपीएल 2025 से जुड़े ऑनलाइन सट्टेबाजी के विज्ञापन भी शामिल हैं।
कोर्ट का निर्देश हाईकोर्ट ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए निर्देश दिया कि न्यायालय की रजिस्ट्री में अभिलेख दर्ज किया जाए।
राज्य अधिवक्ता को भी इस याचिका की प्रति दी जाए।
याचिकाकर्ता को 24 घंटे के भीतर अतिरिक्त हलफनामा दाखिल करने का समय दिया गया।
छत्तीसगढ़ राज्य गृह विभाग के सचिव को व्यक्तिगत हलफनामा दाखिल करने का आदेश दिया गया।
प्रतिवादी कंपनियों को नियमानुसार प्रक्रिया शुल्क जमा करने के निर्देश दिए गए।
इस मामले की अगली सुनवाई 4 अप्रैल 2025 को होगी।